कोरबा (आईपी न्यूज़)। भारत एल्यूमिनियम कंपनी लिमिटेड (बालको) की उत्तरोत्तर प्रगति में इसके रचनाधर्मी मानव संसाधन और नवाचार को निरंतर प्रोत्साहन देने वाले प्रबंधन का महत्वपूर्ण योगदान है।बालको में कार्यरत तकनीशियनों ने अपनी नवाचारिता का लोहा तब मनवा लिया जबकि उन्होंने विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यू.एच.ओ.) के मानकों के अनुरूप बालको की विश्वस्तरीय प्रयोगशाला में लगभग 700 लीटर सैनिटाइजर तैयार कर लिया।
बालको में सैनिटाइजर का उत्पादन तब किया गया जबकि कोविड-19 के कारण बाजार में सैनिटाइजर की अचानक कमी पड़ गई थी। आवागमन बंद हो जाने के कारण आपूर्तिकर्ता बड़े पैमाने पर मांग की आपूर्ति नहीं कर पा रहे थे। बालको के तकनीशियनों के इस महत्वपूर्ण योगदान के परिणामस्वरूप उच्च गुणवत्ता का सैनिटाइजर बालको की प्रयोगशाला में बनाना संभव हो सका और बाजार पर बालको की निर्भरता नहीं रह गई। बालको ने तैयार सैनिटाइजर की आपूर्ति बालको संयंत्र के साथ ही अपने बॉक्साइट उत्खनन क्षेत्र मैनपाट व बोदई-दलदली और कोल उत्पादन क्षेत्र चोटिया में भी की।
बालको के सैनिटाइजेशन दल द्वारा प्रयोग किए जा रहे सैनिटाइजेशन सॉल्यूशन का निर्माण आंतरिक तौर पर बालको मंे ही किया गया है। इस सॉल्यूशन के माध्यम से कोरबा, कटघोरा, बालको टाउनशिप, आसपास स्थित वार्डों और ग्रामीण क्षेत्रों को सैनिटाइज किया जा रहा है। इसके अलावा बालको संयंत्र के विभिन्न प्रवेश द्वारों तथा बालको अस्पताल के प्रवेश द्वार पर सैनिटाइजेशनल टनल व फॉगर स्थापित किए गए हैं। कोविड-19 से निपटने की दिशा में तकनीशिनों के नवाचार से बड़ी संख्या में विभिन्न प्रचालन क्षेत्रों के नागरिकों को संक्रमण मुक्त बनाने में मदद मिली है।
सैनिटाइजर, सैनिटाइजेशन टनल और सैनिटाइजेशन की नई प्रणालियां तैयार करने वाले तकनीशियनों के दल की प्रशंसा बालको की मातृ कंपनी वेदांता समूह के स्तर पर भी हुई है।
बालको के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं निदेशक अभिजीत पति ने बालको के तकनीशियनों और कोरोना वाइरस से लड़ रहे बालको की विभिन्न टीमों की प्रशंसा करते हुए कहा है कि कोविड-19 ने जहां स्वास्थ्य, सामाजिक और आर्थिक स्तरों पर चुनौतियांे को जन्म दिया है वहीं हम सब के लिए नए अवसर उपलब्ध कराए हैं। हम अपने देश के प्रत्येक नागरिक तक स्वच्छता और अनुशासन का संदेश लेकर जाएं। प्रत्येक नागरिक अपने उत्तरदायित्वों के प्रति जागरूक हो। कोविड के दौरान और उसके उपरांत हम सबकी एकजुटता से ही भारत विकास पथ पर निरंतर अग्रसर होगा।
सैनिटाइजर बनाने वाली टीम का नेतृत्व बालको की गुणवत्ता आश्वासन प्रबंधक श्रीमती भक्तिलक्ष्मी साहू ने किया। उनकी टीम में गुणवत्ता आश्वासन सह प्रबंधक गंगाधर साहू, उमाकांत डडसेना व हीरालाल देवांगन शामिल थे। ट्रक आधारित मोबाइल फॉगर बनाने में बालको के संतोष जैन, मोनेश पांडेय, प्रवीण पांडेय, अंकित सिंह और अनिल पटनायक ने उत्कृष्ट योगदान दिया। बालको अस्पताल परिसर और बालको संयंत्र के विभिन्न प्रवेश द्वारों में स्थापित किए गए फॉगर का निर्माण करने वाली टीम में जी. आनंद राज, संतोष जैन, नवीन पटेल, कोमल सोनी, अरूण कुमार सिन्हा, अमृत सिंह चौहान, निशांत, बी.एल. ध्रुव, अजीत, रोहित चंद्रा, पंचू दास और राहुल जैन शामिल थे।