नई दिल्ली (IP News). पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस और स्टील मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने आज पश्चिम बंगाल में स्थित बर्नपुर में सेल के इसको (आईआईएससीओ) स्टील प्लांट और दुर्गापुर में स्थित दुर्गापुर स्टील प्लांट (डीएसपी) का भ्रमण किया। श्री प्रधान ने दोनों इकाइयों का निरीक्षण किया और उनके द्वारा बनाए जा रहे विभिन्न उत्पादों के बारे में भी जानकारी ली। जो कि इन इकाइयों के आधुनिक मिलों द्वारा बनाए जा रहे हैं।
इस मौके पर श्री प्रधान ने पूर्वी भारत में स्थित सेल प्लांट्स की अहम भूमिका का उल्लेख करते हुए मिशन पूर्वोदय के बारे में विस्तार से बातें कहीं। उन्होंने कहा कि सेल के इसको और दुर्गापुर स्टील प्लांट पूर्वी क्षेत्र के विकास के साथ-साथ भारत के विकास में अहम भूमिका रखते हैं। दोनों इकाइयां केवल इस क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण नहीं हैं बल्कि देश के लिए भी काफी अहम हैं। इन्होंने कहा कि इन आधुनिक स्टील इकाइयों को न केवल टिकाऊ उत्पादन मॉडल विकसित करना चाहिए बल्कि इनके जरिए इस क्षेत्र में स्टील से जुड़े उद्योगों को विकसित करने में भी अहम भूमिका निभानी चाहिए।
श्री प्रधान ने पूर्वी भारत में स्टील सेक्टर में विकास को रफ्तार देने के लिए मिशन पूर्वोदय को लांच किया था। इसके तहत एक समेकित स्टील हब विकसित करने की योजना है। जिससे कि भारत में स्टील उत्पादन क्षमता में उल्लेखनीय बढ़ोतरी की जा सके।
मंत्री ने आज इसको (आईआईएससीओ) प्लांट के भ्रमण के दौरान वहां पर ब्लॉस्ट फर्नेस, बार मिल और यूनिवर्सल स्ट्रक्चरल मिल का निरीक्षण किया। जबकि दुर्गापुर स्टील प्लांट के भ्रमण के दौरान ब्लूम-कम-राउंड-कास्टर, व्हील एवं एक्सल प्लांट और मीडियम स्ट्रक्चरल मिल का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने स्टील प्लांट के कर्मचारियों से भी बातचीत की और उनसे आह्वाहन किया वह प्लांट के प्रदर्शन को बेहतर करने के लिए बेहतरीन प्रयास करें। श्री प्रधान ने कहा “इन दो प्लांट के उत्पादों से हमारी आयात की निर्भरता कम हुई है और आत्मनिर्भर भारत अभियान को मजबूती मिली है। इसी के तहत आगे की दिशा निश्चित तौर वोकल फॉर लोकल होनी चाहिए।
मंत्री के दौरे में उनके साथ सेल अध्यक्ष अनिल कुमार चौधरी, सेल की निदेशक वाणिज्य श्रीमती सोमा मंडल, इस्पात मंत्रालय के संयुक्त सचिव पुनीत कंसल, सेल के निदेशक तकनिकी, परियोजनाएं व कच्चा माल हरिनन्द राय और इस्को व दुर्गापुर के सीईओ एवी कमलाकर तथा सेल के अन्य अधिकारी मौजूद थे।