कोरबा (आईपी न्यूज)। कोयला मंत्रालय ने उत्पादन पर फोकस कर दिया है। मंत्रालय का लक्ष्य 2024 तक एक बिलियन टन कोयला उत्पादन का है। फिलहाल देश के 66 कोल प्रोजेक्ट्स में 56 हजारा करोड़ रुपए खर्च किए जा रहे हैं। कुल पंूजी परिव्यय का लगभग 55 प्रतिशत यानी 30 हजार 783 करोड़ रुपए एसईसीएल की 23 परियोजनाओं पर खर्च किए जा रहे हैं। इन 23 परियोजनाओं से 192 मिलियनट टन कोयला उत्पादन का लक्ष्य है। यहां बताना होगा कि एसईसीएल कोल इंडिया लिमिटेड की सबसे बड़ी सहयोगी कंपनी है। कुल कोयला उत्पादन में एसईसीएल का एक चैथाई योगदान रहता है। इसके बाद महानदी कोलफील्ड्स का नम्बर आता है। एमसीएल की 11 परियोजनाओं के लिए 8 हजार 519 करोड़ रुपए खर्च किए जा रहे हैं। यहां से 156 मिलियन टन कोयला उत्पादन का टारगेट हैै। डब्ल्यूसीएल की 15 परियोजनाओं में 5 हजार 949 करोड़ रुपए का व्यय किया जा रहा है।