कोरबा(IP News). कोयला मंत्री प्रल्हाद जोशी का 30 जुलाई को रांची आगमन तय माना जा रहा है। सूत्रों ने बताया है कि रांची के बाद श्री जोशी छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर पहुंचेंगे। एक टेंटेटिव प्रोग्राम आ चुका है। एसईसीएल मुख्यालय के एक अधिकारी ने इसकी पुष्टि की है। बताया जा रहा है कि कोरोना संकट के बीच कोयला मंत्री का यह दौरा कमर्शियल माइनिंग को लेकर होगा।
यहां बताना होगा कि झारखण्ड और छत्तीसगढ़ दोनों राज्यों में कमर्शियल माइनिंग के तहत नीलामी के लिए चिन्हांकित किए गए 9-9 कोल ब्लाॅक हैं। दोनों ही राज्यों में केन्द्र की भाजपा सरकार की मुखालफत करने वाली सरकारें हैं। झारखण्ड सरकार तो कमर्शियल माइनिंग को लेकर सुप्रीम कोर्ट जा चुकी है। यहां याचिका पर सुनवाई भी शुरू हो चुकी है। छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने भी हसदेव अरण्य क्षेत्र में आने वाले पांच कोल ब्लाॅक को नीलामी से हटाने की मांग रखी है।
इधर, कमर्शियल माइनिंग की नीलामी की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। 14 अगस्त को कोल ब्लाॅक के लिए बोली लगाने टेंडर खरीदी की अंतिम तारीख है। 18 अगस्त को टेक्निकल बिड खुलेगी। कमर्शियल माइनिंग के नीलामी की पूरी प्रक्रिया बगैर किसी बाधा के हो, इसकी कवायद के तहत ही कोयला मंत्री का आगमन हो रहा है। हालांकि अभी कोई अधिकारिक दौरा कार्यक्रम जारी नहीं हुआ है।
दूसरी ओर बताया गया है कि रांची आगमन के दौरान कोयला मंत्री श्री जोशी श्रमिक संगठनोें के संयुक्त मोर्चा के नेताओं से भी मुलाकात करेंगे।