कोरोना वायरस लॉकडाउन से पूरी दुनिया की अर्थव्यवस्था बदहाली के दौर से गुजर रही है। देश में भी लॉकडाउन के चलते रेल पहिया भी थम गया था। जिसके चलते रेलवे को करोड़ों रुपये का घाटा लगा है। पश्चिम रेलवे (Western Railways) ने बताया कि उसे कोरोना वायरस लॉकडाउन के चलते 1,784 करोड़ रुपये का घाटा हुआ है। जिसमें जिसमें सबर्बन सेक्शन (suburban section) से 263 करोड़ रुपये और गैर सबर्बन सेक्शन (non-suburban section) से 1,521 रुपये का घाटा हुआ है।

लाइव मिंट में छपी खबर के मुताबिक, पश्चिम रेलवे के चीफ पब्लिक रिलेशन ऑफिसर (Chief Public Relations Officer-CPRO) सुमित ठाकुर (Sumit Thakur) ने बताया कि पश्चिम रेलवे ने 1 मार्च 2020 से 16 जुलाई 2020 तक टिकट कैंसिल होने से 61.15 लाख यात्रियों को 398.01 करोड़ रुपये वापस दिए हैं। पश्चिम रेलवे के हेडऑफिस मुंबई मंडल (Mumbai division) ने इस अवधि में 190.02 करोड़ रुपये का रिफंड सुनिश्चित किया है।

बता दें कि कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए सरकार ने लॉकडाउन घोषित कर दिया था, जिसके चलते 25 मार्च से ट्रेन का पहिया भी थम गया। इंडियन रेलवे ने प्रवासी मजदूरों को घरों तक पहुंचाने के लिए 1 मई से स्पेशल ट्रेन शुरू की थी। इंडियन रेलवे का कहना है कि उसने 50 लाख मजदूरों को स्पेशल श्रमिक ट्रेन (special Shramik trains) से  देश के कई हिस्सों में पहुंचाया।

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