नई दिल्ली, 31 अगस्त। प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद ने कहा है कि यदि अगले 25 वर्ष में भारत की सतत् आर्थिक वृद्धि दर 7 से 7.5% रहती है तो वह 200 खरब डॉलर की अर्थव्यवस्था का देश बन सकता है।
आर्थिक सलाहकार परिषद के अध्यक्ष विवेक देबराय ने कहा कि भारत इसी वृद्धि दर पर 2047 तक उच्च- मध्यम आय वाला देश बन सकता है। उन्होंने कहा कि यदि भारत सात से साढ़े सात प्रतिशत की वृद्धि दर बनाए रखता है तो देश की प्रति व्यक्ति वार्षिक आय लगभग दस हजार डॉलर हो जाएगी।
भारत 27 खरब डॉलर के सकल घरेलू उत्पाद के साथ विश्व की छठी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है और वह इस समय विकासशील देश के रूप में वर्गीकृत है।
श्री देबराय नई दिल्ली में इंडिया@100 के लिए प्रतिस्पर्धी कार्ययोजना जारी करने से संबंधित कार्यक्रम में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वर्ष 2047 तक भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य तय किया है, जिसका अर्थ है कि भारत उच्च मध्यम आय श्रेणी में आ जाएगा और उसकी स्थिति पूरी तरह बदल जाएगी।
विश्व बैंक की परिभाषा के अनुसार प्रति व्यक्ति 12 हजार डॉलर से अधिक की वार्षिक आय का देश उच्च आय के देश के रूप में माना जाता है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के अनुसार 2022-23 में भारतीय अर्थव्यवस्था के 7.4 प्रतिशत तक वृद्धि का अनुमान है और वह विश्व की सबसे तेजी से बढ़ने वाली अर्थव्यवस्था बन जाएगी।
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