कोरबा, 25 अक्टूबर। एनटीपीसी, कोरबा (NTPC Korba) राख का ढेर लगाने में आगे है। राख की उपयोगिता (Fly Ash Utilization) के मामले में संयंत्र पीछे है। 2600 मेगावाट क्षमता वाले प्लांट से साल में 52.68 लाख टन राख का उत्सर्जन होता है।

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छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में नेशनल थर्मल पॉवर कॉरपोरेशन (NTPC) का संयंत्र प्रचालन में है। यहां 500 मेगावाट क्षमता वालीं चार तथा 200 मेगावाट क्षमता वाली 3 इकाइयां उत्पादन में हैं।

एनटीपीसी की सालाना रिपोर्ट के अनुसार कोरबा संयंत्र से 52.68 लाख टन राख का उत्सर्जन हुआ। उपयोगिता 31.91 लाख टन यानी 60.57 फीसदी ही हो सकी। जबकि संयंत्र की राख उपयोगिता का आंकड़ा शत प्रतिशत होना चाहिए।

प्रबंधन की उदासीनता वजह से रखा का शत प्रतिशत उपयोग नहीं हो पा रहा है। पिछले दिनों राख के मामले में पर्यावरण नियमों के उल्लंघन को लेकर छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल ने कोरबा संयंत्र पर डेढ़ लाख रुपए का जुर्माना आरोपित किया था।

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इधर, छत्तीसगढ़ में स्थित एनटीपीसी के अन्य संयंत्र सीपत और लारा राख की उपयोगिता के मामले में बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं। 1600 मेगावाट क्षमता वाले लारा संयंत्र (NTPC Lara) का राख उपयोगिता प्रतिशत 103.55 है। बिलासपुर जिले में स्थित एनटीपीसी, सीपत (NTPC Sipat) ने संयंत्र से उत्सर्जित राख का 101.26 फीसदी उपयोग किया है।

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