चीन में कड़े कोविड प्रतिबंधों को लेकर रविवार की रात शंघाई में सैकड़ों प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच झड़प हुई। पुलिस ने इन्हें रोकने के लिए लाठी चार्ज से लेकर लोगों को गिरफ्तार कर रही है, लेकिन लोगों का गुस्सा खत्म नहीं हो रहा है।
राष्ट्रपति शी चिनपिंग की कड़ी कोविड रोकथाम नीति और लॉकडाउन से परेशान लोग सड़को़ं पर उतर आए। वे सख्त प्रतिबंधों का विरोध कर रहे थे। उरूम्की में हुई गोलीबारी को लेकर यह विरोध प्रदर्शन नौ शहरों में फैल गया। पेईचिंग के चाओयांग जिले में सैकड़ों युवा एकत्र हुए, जहां उन्होंने विरोध प्रदर्शन में हिस्सा लिया। चाओयांग जिले में सभी दूतावास स्थित हैं। एक दशक पहले शी चिनपिंग के राष्ट्रपति के रूप में सत्ता संभालने के बाद चीन के मुख्य शहर में नागरिकों का यह विरोध प्रदर्शन अभूतपूर्व है।
लोग नारेबाजी करते हुए लॉकडाउन हटाने और आजादी देने की मांग कर रहे हैं। प्रदर्शनकारियों ने कहा- फ्रीडम ऑफ प्रेस, फ्रीडम ऑफ एक्सप्रेशन, फ्रीडम ऑफ मूवमेंट चाहिए। हमें हमारी आजादी दे दो। लोग राष्ट्रपति शी जिनपिंग से इस्तीफा मांग भी कर रहे हैं।
ये प्रदर्शन क्यों हो रहे हैं
चीन में लगातार कोरोना बढ़ रहा है। 27 नवंबर को कोरोना के 40 हजार मामले सामने आए हैं। ये अब तक का सबसे बड़ा आंकड़ा है। चीन में अब एक्टिव केस का आंकड़ा 3 लाख के पार हो गया है। इसके चलते शी जिनपिंग सरकार ने कई तरह के प्रतिबंध लगा दिए हैं।
चीन में कड़े कोविड प्रतिबंधों को लेकर रविवार की रात शंघाई में सैकड़ों प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच झड़प हुई। राष्ट्रपति षी चिनपिंग की कड़ी कोविड रोकथाम नीति और लॉकडाउन से परेशान लोग सड़को़ं पर उतर आए। वे सख्त प्रतिबंधों का विरोध कर रहे थे। उरूम्की में हुई गोलीबारी को लेकर यह विरोध प्रदर्शन कई शहरों में फैल गया।
पेईचिंग के चाओयांग जिले में सैकड़ों युवा एकत्र हुए, जहां उन्होंने विरोध प्रदर्शन में हिस्सा लिया। चाओयांग जिले में सभी दूतावास स्थित हैं। एक दशक पहले षी चिनपिंग के राष्ट्रपति के रूप में सत्ता संभालने के बाद चीन के मुख्य शहर में नागरिकों का यह विरोध प्रदर्शन अभूतपूर्व है।
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