नई दिल्ली. कैबिनेट कमेटी ऑन इकोनॉमिक अफेयर्स (CCEA) की बैठक में पावर ग्रिड कॉरपोरेशन (Power Grid Corporation) के लिये इंफ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट ट्रस्ट (Infrastructure Investment Trust) बनाने को आज मंजूरी मिल गई है. कैबिनेट ने InvIT के तहत ऐसेट मोनेटाइजेशन को मंजूरी दी है. इस Trust के जरिये पावर ग्रिड की ट्रांसमिशन लाइन मॉनेटाइज की जाएगी. आसान शब्दों में समझें तो केंद्र सरकार (Central Government) पावर ग्रिड की सहयोगी कंपनियों की संपत्तियां बेचकर पूंजी जुटाएगी. पहले चरण में 10,000 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य रखा गया है.
कैबिनेट की बैठक में श्रम मंत्रालय से जुड़े प्रस्तावों पर चर्चा हुई. उम्मीद की जा रही है कि बैठक में श्रम सुधार प्रस्तावों को मंजूरी मिल जाएगी. बैठक के दौरान वेज कोड बिल में संशोधन किया जाना है और मौजूदा हालात को देखते हुए श्रम कानूनों में कुछ बदलाव किया जाना है. इससे जुड़े तीन प्रस्तावों को मंजूरी मिलने की संभावना है. साथ ही साथ शुरू होने जा रहे संसद के सत्र में सरकार कुछ बिल पेश कर पारित कराना चाहती है. ऐसे जरूरी बिलों को भी इस दौरान मंजूरी मिलने की उम्मीद है.
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– Power Grid एसेट मोनेटाइजेशन को कैबिनेट मंजूरी
– InvIT के तहत ऐसेट मोनेटाइजेशन को मंजूरी pic.twitter.com/i40j3Fj2tG— CNBC-AWAAZ (@CNBC_Awaaz) September 8, 2020
बता दें कि पिछले हफ्ते हुई कैबिनेट बैठक में सरकार ने सरकारी बाबुओं के लिए मिशन कर्मयोगी (Mission Karmayogi) योजना को मंजूरी दी थी. नेशनल प्रोग्राम फॉर सिविल सर्विसेज कैपेसिटी बिल्डिंग (National Programme for Civil Services capacity building) के तहत मिशन कर्मयोगी को चलाया जाएगा. मिशन कर्मयोगी के तहत सरकारी अधिकारियों को खास ट्रेनिंग दी जाएगी.
मिशन कर्मयोगी का लक्ष्य भविष्य के लिए भारतीय सिविल सेवक को अधिक रचनात्मक, कल्पनाशील, सक्रिय, पेशेवर, प्रगतिशील, ऊर्जावान, सक्षम, पारदर्शी और प्रौद्योगिकी-सक्षम बनाकर तैयार करना है. मिशन कर्मयोगी में सरकारी बाबुओं की कुशलता बढ़ाना योजना का प्रमुख लक्ष्य होगा. भर्ती होने के बाद कर्मचारियों, अधिकारियों की क्षमता में लगातार किस तरह से बढ़ोतरी की जाए, इसके लिए मिशन कर्मयोगी शुरू किया गया है.