नई दिल्ली, 27 अप्रेल। एक निजी न्यूज चैनल के कॉन्क्लेव में प्रधानमत्री नरेन्द्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने पूर्व की सरकारों को जमकर कोसा। उन्होंने कहा निजी उद्योगों को आगे नहीं बढ़ने दिया गया। श्री मोदी ने कहा कि आजादी मिलने के बाद लाइसेंस राज वाली जो इकोनॉमिक पॉलिसी अपनाई गई थी, उसमें सरकार ही Controller बन गई। Competition खत्म कर दिया गया, Private industry को, MSME’s को आगे नहीं बढ़ने दिया गया।
इसका पहला नकारात्मक प्रभाव तो यही हुआ कि दूसरे देशों के मुकाबले हम पिछड़ते चले गए, हम और गरीब होते गए। उन नीतियों का second order impact और भी बुरा हुआ। भारत की consumption growth दुनिया के मुकाबले बहुत कम रह गई। इसकी वजह से Manufacturing सेक्टर कमजोर हुआ और हमने Investment के मौके गंवा दिए।
इसका तीसरा प्रभाव ये हुआ कि भारत में innovation का माहौल ही नहीं बन सका। ऐसे में ना ज्यादा innovative enterprise बने, औऱ ना ही ज्यादा private jobs create हुई। युवा सिर्फ और सिर्फ सरकारी नौकरी के भरोसे रहने लगे। देश की कई प्रतिभाओं ने तब काम का माहौल ना देखकर देश छोड़ने तक फैसला कर लिया। ये सब उन्हीं सरकारी नीतियों का Third order impact था। उन नीतियों के Impact ने देश के innovation, hard work और enterprise की क्षमता को कुचल दिया।
श्री मोदी ने कहा आज देश में जो बदलाव आ रहा है, उसकी दिशा क्या है, इसको मापने का एक तरीका है, अर्थव्यवस्था के विकास और विस्तार की गति। भारत को वन ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने में लगभग 60 साल लगे, 60 years। 2014 तक हम लोग किसी तरह दो ट्रिलियन डॉलर के मार्क तक पहुंच पाए थे। यानी सात दशक में 2 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था। लेकिन आज हमारी सरकार के 9 वर्ष बाद भारत आज लगभग साढ़े 3 ट्रिलियन डॉलर इकोनॉमी वाला देश है।
बीते 9 वर्षों में हमने 10वें नंबर की अर्थव्यवस्था से 5वें नंबर तक की लंबी छलांग लगाई। और ये सब 100 साल के सबसे बड़े संकट के बीच हुआ है। जिस दौर में दुनिया की बड़ी-बड़ी अर्थव्यवस्थाएं फंसी हुई थी, उस दौर में भारत संकट से बाहर भी निकला और तेज़ गति से आगे भी बढ़ रहा है।