एसईसीएल में कार्मिक क्षेत्र में क्षमता निर्माण के उद्देश्य से आज अंतर्राष्ट्रीय एचआर दिवस के अवसर पर 20 मई 2024 को एसईसीएल इन्दिरा विहार स्थित प्रबंधन विकास संस्थान (MDI) में श्रम कानून विषय पर 6-दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम की शुरुआत हुई। यह वर्कशॉप ज़ेवियर लेबर रिलेशन्स इंस्टीट्यूट (XLRI) जमशेदपुर के जाने-माने प्रोफेसर एवं श्रम कानून विशेषज्ञ डॉ प्रमोद कुमार पाढ़ी द्वारा ली जा रही है।
कार्यक्रम का उदघाटन सीएमडी डॉ प्रेम सागर मिश्रा द्वारा निदेशक (कार्मिक) बिरंची दास, एक्सएलआरआई फ़ैकल्टी डॉ प्रमोद कुमार पाढ़ी एवं अन्य अधिकारियों की उपस्थिति में किया गया।
अपने उद्बोधन में सीएमडी डॉ प्रेम सागर मिश्रा ने कहा कि एक अच्छे मैनेजर के पास टेक्निकल कम्पीटेन्स, मैनेजीरियल कम्पीटेन्स, एवं लीगल प्रूडेंस होना बहुत ज़रूरी है और तभी हम अपने कार्यक्षेत्र में सफलता प्राप्त कर सकते हैं। उन्होने एसईसीएल में कर्मियों के कौशल विकास को बढ़ावा देने के उद्देश्य से शुरू की गईं विभिन्न पहलों जैसे मिशन नचिकेता, अभिमन्यु ई-मैगजीन आदि के बारे में चर्चा करते हुए कहा कि इन पहलों के माध्यम से एसईसीएल में हमेशा कुछ नया करने एवं कुछ नया सीखने की संस्कृति को बल मिला है।
निदेशक (कार्मिक) बिरंची दास ने कहा कि कार्मिक क्षेत्र में कार्यरत अधिकारियों के लिए श्रम एवं औद्योगिक संबंध से जुड़े कानून एवं प्रावधानों की सही जानकारी होना एवं किस स्थिति में क्या नियम लागू होना चाहिये इसके बारे में पता होना बेहद अहम है। मेरा विश्वास है कि यह वर्कशॉप श्रम कानून के आपके ज्ञान में वृद्धि करेगी एवं भविष्य की चुनौतियों के लिए आपको तैयार करेगी।
एसईसीएल में अपनी तरह के इस पहले प्रशिक्षण कार्यक्रम में ज़ेवियर लेबर रिलेशन्स इंस्टीट्यूट (XLRI) जमशेदपुर के जाने-माने प्रोफेसर एवं श्रम कानून विशेषज्ञ डॉ प्रमोद कुमार पाढ़ी द्वारा प्रतिभागियों को श्रम कानून एवं प्रबंधन के गुर सिखाए जाएंगे। डॉ पाढ़ी के पास मानव संसाधन एवं श्रम कानून के विषय को पढ़ाने का लगभग 22 सालों से अधिक का अनुभव है एवं उनकी गिनती मानव-संसाधन विषय के जाने-माने विशेषज्ञों में होती है। डॉ पाढ़ी द्वारा इस विषय पर 8 पुस्तकें लिखी गयी हैं और उनके 25 से ज़्यादा आलेख विभिन्न राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय शोध पत्रिकाओं में प्रकाशित हुए हैं।
इस वर्कशॉप में एसईसीएल मुख्यालय एवं विभिन्न संचालन क्षेत्रों से कार्मिक संवर्ग के लगभग 30 अधिकारी भाग ले रहे हैं एवं सफलतापूर्वक प्रशिक्षण उपरांत सभी प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र दिया जाएगा।