नई दिल्ली, 23 अगस्त। conference on Indian Minerals & Metals Industry: Transition Towards 2030 & Vision 2047, केंद्रीय खान मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा है कि सरकार ने पिछले आठ वर्षों में धातु और खनन उद्योग के क्षेत्र में देश को आत्मनिर्भर बनाने का काम शुरू किया है।
उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में कारोबार करना सुगम बनाने के लिए उद्योगों के साथ परामर्श कर कई पहल की हैं। श्री जोशी ने आज नई दिल्ली में “भारतीय खनिज और धातु उद्योग : 2030 परिवर्तन की दिशा और परिकल्पना 2047” पर अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन किया।
इस अवसर पर उन्होंने कहा कि कोयला उद्योग के लिए अगले 25 साल के लिए यानी 2047 तक प्रत्येक वर्ष की योजना बनाने की जरूरत है। श्री प्रल्हाद जोशी ने कहा कि देश को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में खनिज और धातु उद्योग महत्वपूर्ण योगदान कर रहा है।
केंद्रीय इस्पात मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने अपने संबोधन में कहा कि इस्पात एक प्रमुख कारक है जिससे दुनिया भर में आर्थिक विकास, पूंजी वृद्धि और ढांचागत विकास होते हैं। श्री सिंधिया ने तैयार उत्पादों और कच्चे माल दोनों पर आयात निर्भरता को कम करने की जरूरत पर जोर दिया।
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