कानपुर (आईपी न्यूज)। इंटक ने केन्द्र की मोदी सरकार की नीतियों के खिलाफ आर- पार की लड़ाई का ऐलान किया है। इसके लिए देश के सभी श्रमिक संगठनों कोे एक मंच पर आने का आव्हान किया गया। राष्ट्रीय अध्यक्ष डा. जी संजीव रेड्डी ने कहा कि देश में दो साल के भीतर एक करोड़ कामगारों को नौकरी से हाथ धोना पड़ा है। कानपुर में आयोजित हुए राष्ट्रीय सम्मेलन में एक दर्जन प्रस्ताव पारित किए गए। इनमें प्रमुख रूप से महंगाई व बेराजगारी पर नियंत्रण, श्रम कानूनों को यथावत रखना, असंगठित सहित देश के 30 करोड़ कामगारों को ईएसआईसी, पीएफ, सामाजिक सुरक्षा का लाभ दिलाना, बोनस से सीलिंग हटाना, स्थाई कामगारों की छटनी रोकना, एफडीआई को रोकना आदि शामिल है। न्यूनतम मजदूरी 25 हजार करने पर भी जोर दिया गया। सम्मेलन को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री व राज्यसभा सदस्य दिग्विजय सिंह ने कहा कि मोदी सरकार सरकारी बैंको व सार्वजनिक उपक्रमों को बर्बाद कर रही है। डिफेंस में निजीकरण का कुचक्र चलाया जा रहा है। तीन दिवसीय इस सम्मेलन में देश, विदेश से एक हजार से ज्यादा प्रतिनिधियों ने शिरकत की।