नई दिल्ली: केरल में Covid-19 के दौर में एक High Profile Wedding का कार्यक्रम चंद चुनिंदा लोगों की मौजूदगी में शांति से होने जा रहा है. केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन की बेटी टी वीणा की शादी CPI(M) के ही एक युवा नेता मोहम्मद रियाज़ के साथ हुई है और इसी का एक छोटा सा जश्न आगामी 15 जून को मनाया जाने वाला है, जो दक्षिण भारतीय Media में सुर्खियों में बना हुआ है. विवाह सूत्र में बंध रहे इस जोड़े के बारे में रोचक जानकारियां हैं, जो Social Media पर भी छाई हुई हैं।
बताया जा रहा है कि वीणा और रियाज़ की शादी पहले ही रजिस्टर हो चुकी है, तिरुअनंतपुरम में बस एक सादा कार्यक्रम होगा. दोनों के परिवार और करीबी दोस्त इस कार्यक्रम में शिरकत करेंगे और कोरोना वायरस संक्रमण के मद्देनज़र सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान रखे जाने की बात कही गई है. वीणा और रियाज़ के बारे में कुछ दिलचस्प फैक्ट जानते हैं।
केरल के सीएम कामरेड पिनाराई विजयन की बेटी वीणा टेक विशेषज्ञ रही हैं. ओरेकल के साथ काम करने के बाद वह आरपी टेकसॉफ्ट की सीईओ रह चुकी हैं. इन सेवाओं के बाद, करीब छह साल पहले वीणा उद्यमी बनी थीं और उन्होंने अपनी कंपनी Exalogic शुरू की थी, जिसका मुख्यालय बेंगलूरु में रहा. यह कंपनी मोबिलिटी और क्लाउड सॉल्यूशन की सेवाएं देती है।
कौन हैं मोहम्मद रियाज़?
स्कूल और कॉलेज के ज़माने से ही रियाज़ छात्र राजनीति में सक्रिय रहे. सीपीएम की यूथ विंग डेमोक्रेटिक यूथ फेडरेशन यानी DYFI के महासचिव रह चुके रियाज़ को फरवरी 2017 में इसका अध्यक्ष बनाया गया था. साल 2009 में सीपीएम ने सबको चौंकाते हुए कोझिकोड से रियाज़ को लोकसभा चुनाव में प्रत्याशी के तौर पर खड़ा किया था और तब वह यूडीएफ प्रत्याशी एमके राघवन से करीब 800 वोटों से चुनाव हारे थे।
पूर्व IPS के बेटे रियाज़ की भी दूसरी शादी
केरल विधानसभा की वेबसाइट पर उपलब्ध जानकारी के हवाले से कहा गया है कि रियाज़ रिटायर्ड आईपीएस अफसर पीएम अब्दुल खादेर के बेटे हैं. रियाज़ के अंकल पीके मोइदीनकुट्टी केरल प्रदेश कांग्रेस के 1941 में अध्यक्ष रहे थे. वकालत की डिग्री रखने वाले रियाज़ की पहली शादी कालीकट यूनिवर्सिटी सिंडिकेट से जुड़ी रहीं समीहा सैथालवी के साथ हुई थी. पहली शादी से रियाज़ के दो बच्चे हैं।
क्यों है सोशल मीडिया पर हंगामा?
दो अलग धर्मों के लोगों के बीच हो रही इस शादी को लेकर कुछ लोग सोशल मीडिया पर ट्रोलिंग भी कर रहे हैं. लेकिन शादी को निजी और सुखद जीवन की शुरूआत मानने वाले कुछ लोग इसके समर्थन में आकर वीणा और रियाज़ को शुभकामनाएं देकर ट्रोलरों का मुंह बंद भी कर रहे हैं. यह भी दिलचस्प है कि पहले भी अलग समुदाय या संप्रदाय में कम्युनिस्ट नेताओं की शादियां चर्चा का विषय बनी हैं. एक नज़र इस इतिहास पर डालने से पहले रियाज़ के DYFI सहयोगी एए रहीम का यह बात काबिले गौर है, जो उन्होंने फेडरल से कहा।